जीवन सूत्र
शरणागत हो जाओ,
गूंज उठती है जब तब कानों में यह ध्वनि
लक्ष्य हो सम्मुख, पथ भी अजाना नहीं
फिर भी जब कदम न बढ़ें
तो शरण में आ जाओ !
अभयदान देती है वाणी
जब माना कि हममें सामर्थ्य नहीं
तुमने सूत्र दिया
खाली हो जाओ !
मन जो भरा है
खाली कर दो
ध्यान में कुछ करना नहीं
बस हो रहो !
जगत बनेगा क्रीड़ास्थल
घर सहज अंतर्मन निश्छल
जगे जब भीतर देवत्व
मिलेगी सत्य की राह अटल !
अनिता निहालानी
३ फरवरी २०११
buddham sharnam gachhami .
ReplyDeletehindee me aa hee nahee raha iss samay.
very nice
ReplyDeleteमेरी नई पोस्ट पर आपका स्वागत है
ReplyDeleteमेरी पोस्ट "गौ माता की करूँ पुकार सुनिए ....." देखियेगा और अपने अनुपम विचारों से हमारा मार्गदर्शन करें.
आप भी सादर आमंत्रित हैं,
http://sawaisinghrajprohit.blogspot.com पर आकर
हमारा हौसला बढाऐ और हमें भी धन्य करें.......
आपका अपना सवाई
super writer you
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